हमारे एक अलह पिय प्यारा है ।।1।।

घट घट नूर मुहम्मद साहब, जा का सकल पसारा है ।।2।।

चौदह तबक जा की रुसनाई, झिलमिल जोति सितारा है ।।3।।

बेनमून बेचून अकेला, हिंदु तुरुक से न्यारा है ।।4।।

सोइ दरवेस दरस निज पायो, सोई मुसलम सारा है ।।5।।

आवै न जाय मरै नहिं जीवै, यारी यार हमारा है ।।6 ।